इस संजीवनी समान औषधि से दांतों से लेकर किडनी तक 100 से ज्यादा बीमारियां रहेगी जीवनभर दूर

नीमका सेवन करने से कई स्वास्थ्य लाभ मिल सकते हैं। नीम के पत्तों के स्वास्थ्य लाभ के बारे में तो आपने सुना होगा। नीम के पत्तों का उपयोग कई प्रकार की दवाइयों के रूप में किया जाता है। इसका इस्तेमाल हृदय रोग, संक्रामक रोगों, आंखों से संबंधित रोगों और आंत्र रोगों के इलाज में किया जाता है, लेकिन क्या आप नींबू के फायदों के बारे में जानते हैं? नींबू के फायदे कई बीमारियों का इलाज

नीमका इस्तेमाल त्वचा से लेकर बालों तक और सूजन को कम करने के लिए भी किया जाता है। नीम डायबिटीज के लिए भी सरप्राइज साबित हो सकता है। हमारे आसपास कई पेड़ हैं, उनके औषधीय गुण हमें कई तरह की बीमारियों से बचाने में मदद कर सकते हैं।नीम में पाए जाने वाले एंटीऑक्सीडेंट संक्रमण से बचाने में मदद कर सकते हैं।

नीम मधुमेह को नियंत्रित करने में काफी उपयोगी माना जाता है। डायबिटिक रोधी गतिविधि होने के कारण इसके सेवन से मधुमेह जैसी बीमारियों से भी बचाव हो सकता है। सूजन को कम करने के लिए नींबू फायदेमंद माना जाता है। सूजन से बचने के लिए नीम के रस का सेवन किया जाता है। यह शरीर में सक्रिय रूप से होने वाली किसी भी सूजन को कम करने में मददगार हो सकता है।

ज्यादा तेल और मसाले खाने से शरीर में तेल की मात्रा बढ़ सकती है, नीम में मुंहासे की एंटी-मुंहासे की गतिविधि होती है और अगर इसका इस्तेमाल किया जाए तो यह मुंहासे की रोकथाम में भी मदद कर सकता है।नीम सूखने के बाद इसका एक पाउडर बना लें, उसमें नीम का रस डालकर शरीर पर स्क्रब करें। यह आपकी त्वचा की चमक के साथ-साथ विभिन्न प्रकार के संक्रमणों के जोखिम को कम कर सकता है

नीम भी अच्छी त्वचा के लिए काफी फायदेमंद साबित होता है। नीम के फलों का सेवन करने से त्वचा से जुड़ी बीमारियों से राहत मिलती है नीम के फल एंटी सेप्टिक और एंटी फंगल गुणों से भरपूर होते हैं। इसके सेवन से त्वचा में होने वाले धब्बों को दूर किया जाता है। और त्वचा काफी दाग मुक्त और सुंदर बनी हुई है।

नीम को पीसकर गर्म पानी में डालें, इसे पानी में उबालकर एक कंटेनर में निगल लें, फिर इसे थोड़ी देर के लिए ठंडा होने दें। ठंडा होने पर इसे अपनी त्वचा पर लगाएं। अगर आपकी त्वचा तैलीय है तो आप इस पेस्ट में कुछ गुलाब जल भी मिला सकती हैं। इसके बाद सुबह उठकर त्वचा को साफ पानी से धोएं। ऐसा करने से त्वचा काफी स्मूद हो जाती है।

निंबोली रस का उपयोग आंखों और कानों के लिए मलहम और बूंदों को बनाने के लिए किया जाता है। इनमें एंटी बैक्टीरियल गुण होते हैं जो आंखों और कानों में संक्रमण पैदा करने वाले बैक्टीरिया से लड़ने में मदद करते हैं। विशेषज्ञों के अनुसार नींबू के रस से बनी बूंदों और मलहम का इस्तेमाल आंखों और कानों में रोगाणुओं और बैक्टीरिया के कारण होने वाले संक्रमण के इलाज में काफी उपयोगी है।

नीम का फल (निंबोली) मलेरिया के लिए रामबाण औषधि है। मच्छरों से नीम के फलों की बदबू से बचाव होता है। नीम के फल से निकलने वाला तेल मच्छरों को निकलने से रोकता है। इससे शरीर को मलेरिया और डेंगू जैसी बीमारियों से बचाया जा सकता है। नींबू उबालकर पानी में उबालना इस पानी को पीने से किडनी और प्रोस्टेट की समस्या दूर होती है। वंदन मजबूत होने के साथ ही मसूड़ों की समस्याओं को दूर करने में भी मदद करता है।

अपने दांतों को इसके पेस्ट से ब्रश करने से मसूड़ों में सूजन, खराब सांस निकलती है। एंटीऑक्सीडेंट न केवल इम्यून सिस्टम को मजबूत बनाने के लिए जाने जाते हैं बल्कि त्वचा को स्वस्थ रखने और कई तरह की परेशानियों में भी फायदेमंद माने जाते हैं।

ऐसी स्थिति में आप एंटीऑक्सीडेंट के लिए नीम के फल (निंबोली) का सेवन कर सकते हैं। नीम के फल से बनी चाय का सेवन शरीर के लिए फायदेमंद है सेहत इस चाय का नियमित सेवन किडनी से जुड़ी सभी समस्याओं से राहत दिलाता है।